अमृता फडणवीस के डिजाइनर अनिक्षा पर 1 करोड़ की रिश्वत और धमकी देने के आरोप सामने आने के बाद से महाराष्ट्र में विवाद शुरू हो गया है। इसे लेकर उद्धव गुट की राज्यसभा सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने गुरुवार को ट्वीट कर अमृता पर निशाना साधा।
प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा- एक अपराधी की बेटी पहले उपमुख्यमंत्री की पत्नी से संपर्क करती है। फिर उनके घर आना-जाना भी शुरू हो जाता है। डिप्टी CM के मुताबिक यह दोस्ती 5 साल चलती है। उपमुख्यमंत्री की पत्नी को वह महंगे कपड़े, गहने देती है। इतना ही नहीं गाड़ी में साथ घूमती है।
अमृता फडणवीस का जवाब- अमृता ने कहा कि मैडम चतुर, आप पहले मुझे एक फर्जी मामले में फंसाने की कोशिश कर चुकी हैं। जहां पर कहा गया कि मुझे एक्सिस बैंक से कुछ गलत फायदे मिले हैं, अब आप मेरी सच्चाई पर भी सवाल उठा रही हैं। वैसे ये तो स्वाभाविक है अगर कोई आपका विश्वास जीतता और फिर केस बंद करने के लिए आपको रिश्वत देता तो आप ऐसे शख्स की अपने मास्टर के जरिए मदद जरूर करतीं। ये आपकी औकात है।
प्रियंका बोलीं- मिस फेड-नॉइस, मेरी जांच की मांग पर आप इतना परेशान क्यों
औकात वाले ट्वीट पर प्रियंका ने कहा कि भगवान का शुक्र है कि मेरी औकात मुझे किसी डिजाइनर के कपड़े प्रमोशन के लिए नहीं दिलवाती, जिससे बाद में मुश्किल में फंसना पड़ जाए। मिस फेड-नॉइस, मुझे समझ नहीं आता कि मैंने एक जांच की मांग क्या कर दी, आप इतना परेशान हो गईं। सही बात तो ये है कि आपको उसी दिन शिकायत करनी चाहिए थी, जब उस लड़की ने आपको पैसे बनाने की टिप्स दी थी।
डिजाइनर अनिक्षा 21 मार्च तक पुलिस कस्टडी में
अमृता की FIR के बाद पुलिस ने अनिक्षा जयसिंघानी और उसके पिता अनिल जयसिंघानी के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया था। गुरुवार को एक शख्स की गिरफ्तारी हुई थी। वहीं अनिक्षा को भी गिरफ्तार कर लिया गया है और उसे 21 मार्च तक पुलिस कस्टडी में भेज दिया गया है।
पढ़िए अमृता ने FIR में क्या लिखवाया...
अमृता ने पुलिस को बताया, 'अनिक्षा नाम की डिजाइनर ने नवंबर 2021 में पहली बार मुझसे संपर्क किया था। उसने मुझे बताया था कि वह कपड़े, ज्वेलरी और फुटवियर डिजाइन करती है। हम दोनों की मुलाकात एक कार्यक्रम में हुई थी। इस दौरान अनिक्षा ने मुझसे उसकी डिजाइन की हुई ज्वेलरी और फुटवियर पहनने और उनका प्रमोशन करने की अपील की थी। मुझे उस पर तरस आया और मैंने हां कर दी। पहली मुलाकात में उसने मुझे बताया था कि उसकी मां की मौत हो चुकी है।
एक बार मेरे घर आकर उसने मेरे स्टाफ के लोगों को कपड़े और ज्वेलरी दी थी और मुझसे रिक्वेस्ट की थी कि मैं उन्हें पहनूं। मुझे याद नहीं है कि मैंने उसकी दी ड्रेस कभी पहनी भी थी या नहीं। इन चीजों को मेरे स्टाफ ने लौटा दिया या डोनेट कर दिया था, क्योंकि मेरे पास उसका दिया कोई सामान नहीं है।
ऐसी ही एक मुलाकात में अनिक्षा ने दावा किया था कि उसके पिता के कई पॉलिटिकल पार्टी के नेताओं के साथ करीबी संबंध हैं। उसने वहां मौजूद एक कर्मचारी को लिफाफा देकर मुझे देने को कहा जब मैंने लिफाफा खोला तो उसमें हाथ से लिखा हुआ नोट था। उसमें क्या लिखा हुआ था मुझे समझ नहीं आया और मैंने उसे एक तरफ रख दिया।
एक बार अनिक्षा ने मेरे बॉडीगार्ड से झूठ बोला और मेरी कार में बैठी गईं। उसने मुझे बताया कि उसके पिता पुलिस को सटोरियों की जानकारी देते थे। उसने ऑफर किया कि अगर इन सटोरियों के खिलाफ एक्शन लेना है, तो पुलिस से कहकर पैसे भी कमाए जा सकते हैं। या फिर कोई एक्शन न लेकर सटोरियों से पैसे ऐंठे जा सकते हैं। ये सुनने के बाद मैंने उसे कार से नीचे उतरने को कहा। फिर मैंने उसके कॉल उठाने बंद कर दिए।
16 फरवरी को रात 9 बजकर 30 मिनट पर अनिक्षा ने मुझे कॉल करके बताया कि उसके पिता को एक केस में आरोपी बनाया गया है। अगर मैं उन्हें बचा लेती हूं तो वह मुझे 1 करोड़ रुपए देगी। यह सुनने के बाद मैंने फोन रख दिया और उसका नंबर ब्लॉक कर दिया।' पूरी खबर यहां पढ़ें...
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