राहुल गांधी का लोकसभा स्पीकर को दूसरा लेटर:लिखा- मुझे सदन में बोलने का अधिकार, मेरे खिलाफ बेतुके और बेकार के आरोप लगाए गए

नई दिल्ली2 महीने पहले
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कांग्रेस नेता राहुल गांधी ब्रिटेन में भारतीय लोकतंत्र पर दिए बयान पर के बाद भाजपा के निशाने पर हैं। भाजपा लगातार उनसे माफी की मांग कर रही है। वहीं, राहुल का कहना है कि उन्होंने भारत के खिलाफ कोई अपमानजनक भाषा का इस्तेमाल नहीं किया। - Dainik Bhaskar
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ब्रिटेन में भारतीय लोकतंत्र पर दिए बयान पर के बाद भाजपा के निशाने पर हैं। भाजपा लगातार उनसे माफी की मांग कर रही है। वहीं, राहुल का कहना है कि उन्होंने भारत के खिलाफ कोई अपमानजनक भाषा का इस्तेमाल नहीं किया।

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने मंगलवार को लोकसभा स्पीकर ओम बिरला को एक बार फिर लेटर लिखा है। उन्होंने लिखा कि बेतुके और बेकार के आरोप के लगाए जा रहे हैं। राहुल ने अपील की है कि उन्हें ब्रिटेन में दिए गए बयान को लेकर सदन में अपनी बात रखने का मौका दिया जाए, क्योंकि उन्हें सदन में बोलने का अधिकार है।

इससे पहले कांग्रेस नेता ने इसी मामले सोमवार को भी लोकसभा स्पीकर को लेटर लिखा था। संसद में अपनी बात रखने की मांग की थी।

ब्रिटेन में भारतीय लोकतंत्र पर टिप्पणी को लेकर भाजपा उनसे लगातार माफी की मांग कर रही है। वहीं, राहुल का कहना है कि सरकार के कुछ मंत्रियों ने उनपर भारत के खिलाफ बोलने के आरोप लगाए हैं, जो पूरी तरह से बेसलेस है।

राहुल ने नियम 357 का हवाला दिया
लेटर में राहुल ने लोकसभा के नियम 357 का हवाला दिया। उन्होंने कहा कि नियम 357 सदन में पर्सनल एक्सप्लेनेशन की अनुमति देता है। राहुल के मुताबिक, कोई भी सांसद स्पीकर की परमिशन से अपना स्पष्टीकरण दे सकता है, भले ही सदन के सामने कोई सवाल न हो।

उन्होंने कहा कि वह यह परमिशन संसदीय परंपराओं, नेचुरल जस्टिस के संवैधानिक रूप से निहित नियमों और लोकसभा में प्रक्रिया और कार्य संचालन नियमों के नियम 357 के तहत मांग रहा हूं।

सदन अपने जिम्मेदारियों से नहीं बच सकती
राहुल ने लिखा कि वे प्रशासनिक मनमानी के खिलाफ एक गारंटी हैं और यह सुनिश्चित करते हैं कि प्रत्येक व्यक्ति को एक ऐसे मामले में सुनवाई का अधिकार है, जिससे वे संबंधित हैं। निश्चित रूप से, आप इस बात से सहमत होंगे कि सभी संस्थानों की तरह संसद इस अधिकार के सम्मान करने की जिम्मेदारियों से बच नहीं सकती।

उन्होंने कहा- लोकसभा डिजिटल लाइब्रेरी पर भी कई उदाहरण मौजूद हैं, जो बताते हैं कि यह अधिकार संसद के भीतर दिए गए बयानों का जवाब देने तक ही सीमित नहीं है, बल्कि पब्लिक डोमेन में लगाए गए आरोपों तक भी है।

राहुल बोले- मैने भारत का अपमान नहीं किया
इससे पहले राहुल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान भी कहा था कि वह सदन में बोलना चाहते हैं। भाजपा उनसे लगातार माफी की मांग कर रही है। राहुल पिछले हफ्ते भी पार्लियामेंट की विदेशी मामलों की कंसल्टेटिव कमेटी के सामने कह चुके हैं कि उन्होंने भारत का अपमान नहीं किया है।

हाल ही में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में राहुल ने कहा कि मैने भारत का अपमान नहीं किया। देश का अपमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करते हैं।
हाल ही में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में राहुल ने कहा कि मैने भारत का अपमान नहीं किया। देश का अपमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करते हैं।

खड़गे बोले- राहुल गांधी माफी नहीं मांगेंगे
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने मंगलवार को एक बार फिर दोहराया कि लंदन के केंब्रिज यूनिवर्सिटी में दिए बयान पर राहुल गांधी संसद में माफी नहीं मांगेंगे। उन्होंने कहा- हम अडाणी मामले पर JPC से जांच की मांग बार-बार करेंगे जब तक हमें कोई जवाब नहीं मिलता। यह सिर्फ मुद्दे से ध्यान भटकाने के लिए है। हमारे दूतावासों पर हमले हो रहे हैं लेकिन सरकार इन हमलों की निंदा करने के लिए कुछ भी नहीं कह रहे और अब 'देशभक्ति' की बात कर रहे हैं।

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राहुल गांधी कैंब्रिज यूनिवर्सिटी में विजिटिंग फेलो के तौर पर पहुंचे थें। उन्होंने यहां से डेवलपमेंट स्टडी में 1995 में एमफिल किया था।
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कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने ब्रिटेन की कैंब्रिज यूनिवर्सिटी में चीन की तारीफ की। उन्होंने कहा कि चीन का इंफ्रास्ट्रक्चर देखिए, वहां रेलवे हो, एयरपोर्ट हो, सब कुछ नेचर से जुड़े हैं। चीन प्रकृति से मजबूती से जुड़ा हुआ है। वहीं, अगर हम अमेरिका की बात करें तो वह खुद को नेचर से भी बड़ा मानता है। यह बताने के लिए काफी है कि चीन को शांति पसंद है। पढ़ें पूरी खबर..