शहर पाकिस्तान का गुजरांवाला, जगह 'द जिन्ना स्टेडियम'। साल 1989, टॉस हो चुका था। भारतीय टीम में 16 साल का एक छोटे कद का खिलाड़ी 74 नंबर की कैप पहनकर अपना वनडे डेब्यू कर रहा था। भारतीय कप्तान के. श्रीकांत ने टॉस जीतकर बॉलिंग करने का फैसला किया। खराब लाइट के चलते मैच को 16 ओवर का कर दिया गया।
पाकिस्तान की टीम बैटिंग करने उतरी और 9 विकेट गवांकर 87 रन ही बना सकी। सईद अनवर ने पाकिस्तान की तरफ से 32 गेंद में सबसे ज्यादा 42 रन बनाए थे। भारत की तरफ से सलिल अंकोला और मनिंदर सिंह ने 2-2 विकेट लिए थे। जवाब में भारतीय टीम 16 ओवर में 9 विकेट खोकर 80 रन बना पाई और मैच 7 रन से हार गई। मोहम्मद अजहरुद्दीन ने सबसे ज्यादा 21 रन की पारी खेली थी, लेकिन इस मैच में जिस 16 साल के खिलाड़ी पर सबकी निगाह थी, उसका क्या हुआ?
सवाल सही है, तो जवाब है कि वो खिलाड़ी बिना खाता खोले जीरो पर आउट हो गया। उस खिलाड़ी का नाम था सचिन तेंदुलकर। मुंबई के एक स्कूल मास्टर रमेश तेंदुलकर का बेटा, जिसने पिता से पढ़ाई की बजाय क्रिकेट खेलने की इच्छा जताई थी। गुरु और कोच रमाकांत आचरेकर का शिष्य। वापस मैच की तरफ चलते हैं। पहले मैच में शून्य से शुरुआत करने वाले सचिन के अगर पूरे क्रिकेट इतिहास पर नजर डालें, तो उनके बनाए रिकॉर्ड आज भी कायम हैं। वनडे में सचिन पहले खिलाड़ी थे, जिन्होंने दोहरा शतक बनाया, 18,426 रन वनडे करियर में बनाए और 49 शतक भी जड़े।
सचिन ने 23 साल बाद 23 दिसंबर 2012 को वनडे करियर से अलविदा कह दिया था। ऑस्ट्रेलिया के पूर्व क्रिकेटर मैथ्यू हेडन ने सबसे पहले सचिन को 'गॉड ऑफ क्रिकेट' का नाम दिया था। उन्होंने एक स्टेटमेंट में कहा था - मैंने भगवान को देखा। वह भारतीय टेस्ट टीम में चौथे नंबर पर बैटिंग करने उतरते हैं। ('I Have Seen God. He Bats No.4 For India In Tests.')
1878: सोवियत संघ के इंकलाबी और सनकी तानाशाह जोसेफ स्टालिन का जन्म
आज हम आपको एक ऐसे तानाशाह के बारे में बताएंगे, जिसकी शुरुआत तो इंकलाबी नेता के तौर पर हुई थी, लेकिन बाद में कई लोग उसे सनकी तानाशाह मानने लगे। इस दौरान कई लोगों ने उसकी मौत पर जश्न भी मनाया था। इस शासक का नाम था, जोसेफ स्टालिन। बेहद गरीब परिवार में जन्में स्टालिन का जन्म 1878 आज ही के दिन जॉर्जिया के गोरी में हुआ था। बचपन में लोग उन्हें जोसेफ विसारियोनोविच जुगाशविली कहते थे। उस समय जार बादशाह जॉर्जिया का शासक हुआ करता था। पिता जूते सिलने का काम करते थे, और मां घरों में कपड़े धोने का काम करती थीं।
मार्क्स की किताबें पढ़ने वाले स्टालिन को उनकी मां पादरी बनाना चाहती थीं। ऐसे में उन्होंने उसे साल 1895 में पादरी बनने की पढ़ाई करने के लिए जॉर्जिया की राजधानी तिब्लिसी भेजा। यहां स्टालिन एक समाजवादी संगठन से जुड़ गया। 1899 में उन्हें धार्मिक स्कूल से बाहर कर दिया गया। तिब्लिसी के मौसम विभाग में कर्मचारी स्टालिन रूसी साम्राज्य के खिलाफ लगातार बगावती तेवर अपनाए रहे और प्रोटेस्ट करते रहे। स्टालिन की हरकतों का जॉर्जिया की पुलिस को पता चल गया था। वह अंडरग्राउंड हो गया और कुछ वक्त बाद बोल्शेविक पार्टी ज्वॉइन कर ली।
1905 में पहली बार उसने गुरिल्ला युद्ध में हिस्सा लिया। 1906 में शादी की, लेकिन एक साल बाद ही उसकी पत्नी की मौत हो गई। 1907 में वह पूरी तरह रूसी क्रांति में शामिल हो गया। 1917 में कम्युनिस्ट क्रांति कामयाब हुई और लेनिन का शासन शुरू हुआ। इस क्रांति में अहम रोल निभाने वाले स्टालिन को कम्युनिस्ट पार्टी का महासचिव बनाया गया। 1924 में लेनिन की मौत के बाद स्टालिन ने अपने आपको उनका वारिस घोषित किया। 1920 के आखिरी दशक तक वह सोवियत संघ का तानाशाह बन चुका था।
स्टालिन के आतंक की बात करें, तो इस बात से उसके तानाशाही रवैये को समझ सकते हैं कि जो भी उसका विरोध करता, वह उन्हें मरवा देता था। उसने पार्टी के सेंट्रल कमेटी के 93 सदस्य, सेना के 103 जनरल और 81 एडमिरल को मरवा दिया था।
18 दिसंबर के दिन को इतिहास में और किन-किन महत्वपूर्ण घटनाओं की वजह से याद किया जाता है…
2017: राष्ट्रमंडल कुश्ती चैंपियनशिप में भारत ने 30 में से 29 स्वर्ण पदक जीते।
2014: सबसे भारी रॉकेट GSLV मार्क-3 का सफल प्रक्षेपण हुआ।
2008: ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण हुआ।
2005: कनाडा में गृह युद्ध की शुरुआत।
1969: इंग्लैंड में मृत्युदंड की सजा समाप्त कर दी गई।
1960: राजधानी दिल्ली में राष्ट्रीय संग्रहालय का उद्घाटन हुआ।
1956: जापान ने संयुक्त राष्ट्र की सदस्यता ग्रहण की।
1914: ब्रिटेन ने औपचारिक रुप से मिस्र को अपना उपनिवेश घोषित किया।
1833: रूस का राष्ट्रीय गान ‘गॉड सेव द जार’ पहली बार गाया गया।
1799: अमेरिका के पहले राष्ट्रपति जॉर्ज वाशिंगटन के पार्थिव शरीर को माउंट वर्नान में दफनाया गया।
1787: अमेरिकी संविधान को स्वीकार करने वाला न्यू जर्सी तीसरा राज्य बना।
1777: अमेरिका में पहली बार नेशनल थैंक्स गिविंग डे मनाया गया।
1398: तैमूर ने सुल्तान नुसरत शाह हराकर दिल्ली पर कब्जा किया।
1271: मंगोल शासक कुबलई खाने ने अपने साम्राज्य का नाम युआन रखा। यहीं से इस वंश की चीन और मंगोलिया में शुरुआत हुई।
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