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प्रति माह स्वच्छ हरित ग्राम पंचायत को मिलेंगे 1-1 लाख रुपए
पंचायतीराजसंस्थाओं में स्वच्छता के लिए प्रदेश सरकार द्वारा स्वर्ण जयंती पुरस्कार योजना शुरू की गई है। इस योजना के तहत पुरस्कृत होने वाली ग्राम पंचायतों का चयन विभिन्न समितियों द्वारा किया जाएगा।
डीसी रवि प्रकाश गुप्ता ने बताया कि स्वर्ण जयंती पुरस्कार योजना के तहत सभी शर्तें पूर्ण करने वाली ग्राम पंचायतों को ही पुरस्कार दिया जाएगा। योजना के तहत हर माह हर ब्लाक से चुनी गई ग्राम पंचायतों में से सबसे स्वच्छ एवं हरित ग्राम पंचायत को एक लाख रुपए तथा खंड स्तर पर चुनी गई सबसे अच्छी ग्राम पंचायत को एक लाख रुपए का पुरस्कार दिया जाएगा।
इसके अतिरिक्त हर माह सार्वजनिक शौचालयों का सही तरीके से रख-रखाव करने वाली ग्राम पंचायत को 10 हजार रुपए का पुरस्कार दिया जाएगा। प्रदेश में खंड एवं जिला स्तर पर शर्तें पूरी करने वाली ग्राम पंचायतों को एक लाख रुपए, ब्लाक समिति को पांच लाख तथा जिला परिषद को 20 लाख रुपए का नकद पुरस्कार दिया जाएगा। पुरस्कार प्राप्त करने वाली ग्राम पंचायतें पुरस्कार राशि को संबंधित क्षेत्र में स्वच्छता को बढ़ाने तथा स्वच्छता सुविधाओं को बनाए रखने में कर सकेंगी। इस पुरस्कार राशि से डस्टबिन की खरीद नहीं की जा सकेगी। उन्होंने बताया कि ग्राम पंचायत पूर्ण रूप से खुले में शौच मुक्त होनी चाहिए। गांव में हर व्यक्ति द्वारा व्यक्तिगत या सामूहिक शौचालयों का प्रयोग किया जाना चाहिए। गांव में स्थित सभी राजकीय, निजी, सहायता प्राप्त विद्यालय एवं आंगनवाड़ी केंद्रों में स्वच्छ एवं कार्यरत शौचालय होने चाहिए। स्कूल और आंगनवाडिय़ों में पूर्णत: स्वच्छता होनी चाहिए। गांव में सभी पानी के स्रोतों के उचित प्लेटफार्म एवं इसके चारों ओर ड्रेनेज व्यवस्था होनी चाहिए। ग्राम पंचायत के भौगोलिक क्षेत्र में पौधा रोपण उचित ट्री-कवर होना चाहिए। पंचायती राज संस्था द्वारा संपूर्ण गांव में घरों के कचरे के निपटारे की उचित व्यवस्था होनी चाहिए। इसके अंतर्गत ड्रेनेज सिस्टम होना चाहिए। गांव के आबादी क्षेत्र में पानी जमा नहीं हो तथा ऐसी जगह पर कचरे को डाला जाता हो।