रीढ़ की हड्‌डी में डिस्क प्रोलैप्स का ऑपरेशन कर दिलाई

5 वर्ष पहले
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रीढ़ की हड्‌डी में डिस्क प्रोलैप्स का ऑपरेशन कर दिलाई कमरदर्द व चलने की तकलीफ से राहत
भिखोड़ी, लूणी निवासी 34 वर्षीय गोरखनाथ के कमर दर्द, पांव सुन होने और चलने की तकलीफ को रीढ़ की हड्डी में डिस्क प्रोलैप्स का ऑपरेशन कर सही किया। ऑपरेशन की तकनीक को एंडोस्कोपी डिस्केक्टोमी कहा जाता है। मस्तिष्क व रीढ़ की हड्डी के विशेषज्ञ न्यूरो सर्जन डाॅ. राकेश गोयल ने बताया कि मरीज कमर में अधिक दर्द, सीधे पैर में दर्द व सुन होने व झनझनाहट एवं चलने में अधिक तकलीफ की शिकायत से श्रीराम हॉस्पिटल में दिखाने आया था। उसकी एमआरआई कराई तो पता चला कि रीढ़ की हड्डी में एल 5 में दबाव के कारण पांव में जा रही नस पर भी दबाव आ रहा है। मरीज के 1.5-2 सेमी के (रीढ़ की हड्डी से 1.5 सेमी. साइड से) छेद करके एंडोस्कोप की सहायता से मॉनिटर पर देखते हुए आॅपरेशन किया। इसमें मरीज की दबी हुई नस को दबाव मुक्त किया गया। इसमें आॅपरेशन टेबल पर एक्स-रे व्यू की मदद से डिस्क का स्थान मार्क किया तथा रीढ़ की हड्डी से 1.5 सेमी. दूर छोटा चीरा लगाकर एक ट्रैक बनाया गया। उसे डाईलेटर की मदद से चौड़ा किया गया। बाद में 1.8 सेमी की शीथ को फिक्स कर दिया। फिर शीथ के अंदर से एंडोस्कोप की मदद से ऑपरेशन पूर्ण किया गया। आॅपरेशन के कुछ घंटों के बाद ही मरीज को खड़ा कर चलाया गया और स्वास्थ्य में सुधार होने पर छुट्टी दे दी गई। आॅपरेशन में निश्चेतना विशेषज्ञ डाॅ. गिरीश माथुर व ओटी असिस्टेंट आशीष, तखतसिंह, सुरेंद्र व घनश्याम ने सहयोग किया।

अहमदाबाद के मस्तिष्क रोग विशेषज्ञ डॉ. सागर बेटाई आज वसुंधरा अस्पताल में देंगे सेवाएं
सिम्स अस्पताल अहमदाबाद के मस्तिष्क रोग विशेषज्ञ एवं अमेरिका से प्रशिक्षित डाॅ. सागर बेटाई शुक्रवार को चौहाबो स्थित वसुंधरा अस्पताल में अपनी सेवाएं देंगे। दिमागी बुखार, लकवा, हाथ-पांव में कंपन, मिर्गी रोग, ताणें आना, याददाश्त खोना, सिरदर्द, चक्कर, चलने में लड़खड़ाहट, घबराहट, सोने में परेशानी, नींद न आना जैसी पुरानी जटिल बीमारियाें के मरीज परामर्श ले सकते हैं। डाॅ. बेटाई 1 दिसंबर को पाली के श्रद्धा व सुमेरपुर के सप्त गिरि अस्पताल में अपनी सेवाएं देंगे।