श्रीगंगानगर| नगरपरिषद में नया बाेर्ड बनने व सभापति करुणा चांडक के शपथ ग्रहण करने के एक दिन बाद मंगलवार काे पुरानी धानमंडी में पिड़ाे के अावंटन का मामला शहर अाए प्रभारी मंत्री गाेविंद सिंह डाेटासरा तक पहुंचा। सभापति करुणा चांडक ने प्रभारी मंत्री काे ज्ञापन देते हुए अवगत कराया कि शहर में पुरानी धानमंडी के 14 दुकानदाराें ने 1 जनवरी 2016 काे डीएलसी दर की बढ़ाेतरी की संभावना हाेने के कारण दिसंबर के अंतिम सप्ताह में स्वयं के स्तर पर 3.50 कराेड़ रुपए 59680 रुपए डीएलसी की दर से परिषद में राशि जमा करवा दी थी।
प्रभारी मंत्री काे बताया कि उक्त प्रकरण एंपावर्ड कमेटी में 11 अगस्त काे रखा गया। 23 सितंबर 2013 काे दुकान संख्या 1 से 100 तक में पुरानी धानमंडी में पिड साइज 21.6 गुणा 70 फीट में से 30 फीट भूमि सड़क छाेड़कर 21.6 गुणा 40 फीट भूमि निर्माण स्वीकृति के साथ अावासीय अारक्षित दर की दाेगुनी अथवा डीएलसी दर जाे भी अधिक हाे, की दर से पिड़ अावंटन किए जाने की स्वीकृति प्रदान की गई। शेष दुकानदाराें ने 1 जनवरी 2016 से डीएलसी दर में वृद्धि प्रस्तावित हाेने पर जरिए अारटीजीएस नगरपरिषद काेष में राशि जमा करवा दी। 11 अगस्त 2017 काे निर्णय लिया गया कि जमा राशि का समायाेजन कर वर्तमान बाजार दर से राशि ली जाकर उक्त अादेशाें की अनुपालना में लीज डीड जारी करने की स्वीकृति प्रदान की गई। 14 दुकानदाराें की अाेर से वर्तमान डीएलसी दर से शेष जमा की जाने वाली राशि नगरपरिषद काेष में जमा नहीं करवाई गई है। उक्त दुकानदाराें की अाेर से जमा की गई राशि स्वीकृति के अभाव में परिषद काेष में जमा है। यदि परिषद काे शेष बचे दुकानदाराें से भी पिड़ाे की राशि प्राप्त हाेती है ताे परिषद काे लगभग 35 कराेड़ की अाय प्राप्त हाेगी।