घटना महाराष्ट्र के ठाणे जिले की है। 60 साल की वृषाली कुलकर्णी भजन गा रही थीं। उनकी 32 साल की बहू विजया कुलकर्णी टीवी देख रही थी। सास ने बहू को टीवी का वॉल्यूम कम करने को कहा। बहू नहीं मानी, उल्टे वॉल्यूम और तेज कर दी।
इसके बाद सास ने टीवी ही बंद कर दिया। दोनों के बीच जमकर झगड़ा हुआ। बहू ने सास के दाहिने हाथ की तीन उंगलियों को दांतों से बुरी तरह से काट लिया। बचाव करने पहुंचे पति को बहू ने जमकर गालियां दी और सास के सामने थप्पड़ भी जड़ दिया।
अब सास ने बहू के खिलाफ पुलिस केस दर्ज कराया है।
आज जरूरत की खबर में बात करेंगे घरेलू हिंसा के मामले में सास के अधिकार की। साथ ही यह भी समझेंगे कि प्रॉपर्टी और मेंटेनेंस से जुड़े सास के क्या अधिकार हैं...
मौजूदा मामले में IPC के सेक्शन 308 के तहत बहू के खिलाफ मामला दर्ज हो सकता है या फिर डोमेस्टिक वायलेंस के तहत।
क्या है 308- इस सेक्शन के मुताबिक,अगर कोई व्यक्ति किसी की मौत का कारण बना जाए, तो वह गैर इरादतन हत्या (जो हत्या की श्रेणी मे नहीं आता) का आरोपी होगा। जिसमें बहू को 3 साल तक की जेल या जुर्माना या दोनों की सजा हो सकती है।
सवाल- घरेलू हिंसा यानी डोमेस्टिक वायलेंस एक्ट क्या है?
जवाब- अगर महिला को किसी भी वजह से प्रताड़ित किया जाता है, तो वह घरेलू हिंसा एक्ट के तहत मजिस्ट्रेट कोर्ट में अपनी याचिका दाखिल कर सकती है। इसके तहत महिला प्रोटेक्शन के साथ-साथ गुजारा भत्ता यानी मेंटेनेंस के लिए भी कोर्ट से गुहार लगा सकती है।
(इस मामले में सास ने बहू के खिलाफ IPC के सेक्शन 324, 323, 504 और 506 के तहत मामला दर्ज करवाया है। इनके बारे में हम आगे बात करेंगे। )
सवाल- मान लें कि सास ने बहू के खिलाफ शिकायत दर्ज करवा दी। ऐसी सिचुएशन में केस करने से लेकर फैसला आने तक, सास को अपनी बहू से सुरक्षा कैसे मिलेगी?
जवाब- प्रोटेक्शन ऑफिसर सास की शिकायत के बाद डीटेल्ड इंवेस्टिगेशन रिपोर्ट यानी DIR बनाकर कोर्ट में पेश करेगा, जिसे मजिस्ट्रेट संज्ञान में लेगा और बहू को समन भेजकर तलब करेगा कि वो सास के नजदीक न जाए।
ऊपर लिखे ग्राफिक्स में मेंटेनेंस, प्रॉपर्टी और डोमेस्टिक वायलेंस का जिक्र किया गया है। डोमेस्टिक वायलेंस एक्ट के बारे में हम पहले ही बता चुके हैं। इसलिए मेंटेनेंस और प्रॉपर्टी से जुड़े कुछ सवालों के जवाब जान लेते हैं...
सवाल- जिस सीनियर सिटीजन एक्ट, 2007 का जिक्र किया गया है, उसके तहत बहू को अपनी सास के कौन-कौन सा खर्च उठाना पड़ेगा?
जवाब- बहू और बेटे दोनों को सास के इन 4 चीजों का खर्च उठाना पड़ेगा
सवाल- मान लीजिए सास के नाम पर घर न हो यानी अगर सास ने अपना घर बेटे के नाम पहले ही कर दिया है और फिर बहू परेशान कर रही है, तब क्या होगा?
जवाब- दिल्ली हाईकोर्ट के वकील एनके अग्रवाल के मुताबिक, प्रॉपर्टी लेने के बाद सास को प्रताड़ित करने वाले बच्चों को उनकी प्रॉपर्टी वापस भी देनी पड़ सकती है।
सवाल- बहुत से मामलों में देखा गया है कि सास के साथ आए दिन बहू मारपीट करती है, तब किस सेक्शन के तहत वो कम्प्लेंट कर सकती है?
जवाब- अगर बहू अपनी सास के साथ रेगुलर मारपीट करती है, तो सास IPC के सेक्शन 323,324,325 या 326 के तहत कम्प्लेंट कर सकती है।
सवाल- बहुत से मामलों में सास के साथ बहू मारपीट नहीं करती है, लेकिन गाली-गलौच करती है, क्या तब भी सास शिकायत कर सकती है?
जवाब- जी हां, ऐसी सिचुएशन में सास IPC के सेक्शन 509 के तहत बहू के खिलाफ शिकायत कर सकती है।
चलते-चलते
मौजूदा मामले में तीन उंगलियां काटने वाली बहू विजया के खिलाफ सास ने बरनाथ पूर्व के शिवाजीनगर थाने में जाकर IPC के सेक्शन 324, 323, 504 और 506 के तहत मामला दर्ज करवाया है। इसके तहत बहू को क्या सजा मिल सकती है?
इन धाराओं में जमानत मिल सकती है।
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