आज यानी 11 अप्रैल से अमरनाथ यात्रा के रजिस्ट्रेशन शुरू हो रहे हैं। कोरोना की वजह से दो साल से अमरनाथ यात्रा पर रोक लगी थी। इस साल यह यात्रा 30 जून से शुरू होने वाली है। अगर आप भी इस यात्रा पर जाना चाहते हैं तो ये खबर आपके काम की हो सकती है।
अमरनाथ यात्रा से जुड़ी हर जानकारी के लिए हमने श्राइन बोर्ड के एडिशनल चीफ एग्जिक्यूटिव राहुल सिंह और डायरेक्टर जनरल ऑफ पुलिस दिलबाग सिंह से बात की।
सवाल- अमरनाथ जाने के लिए क्या करना होगा?
जवाब- सबसे पहले रजिस्ट्रेशन करवाना होगा। हर दिन केवल 20 हजार रजिस्ट्रेशन होंगे।
सवाल- क्या यह रजिस्ट्रेशन ऑनलाइन भी होता है?
जवाब- हां, बिल्कुल। ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन 11 अप्रैल से शुरू हो जाएंगे।
सवाल- अमरनाथ यात्रा का रजिस्ट्रेशन करवाने में कितने पैसे लगेंगे?
जवाब- हर यात्री को रजिस्ट्रेशन फीस के 100 रुपए लगेंगे।
सवाल- ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन के लिए क्या कर सकते हैं?
जवाब- अमरनाथ यात्रा के लिए ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन पंजाब नेशनल बैंक, जम्मू-कश्मीर बैंक या यस बैंक की किसी भी नजदीकी ब्रांच में जाकर कराया जा सकता है। आवेदक को इसके लिए अपना आधार कार्ड, 4 पासपोर्ट साइज फोटो और सरकारी अस्पताल से बनवाया गया हेल्थ सर्टिफिकेट देना होता है। रजिस्ट्रेशन फीस देने के बाद रजिस्ट्रेशन हो जाता है और उपलब्ध स्लॉट के हिसाब से यात्रा की तारीख मिल जाती है। इसकी डिटेल बैंक से मिलने वाली रसीद पर होती है।
सवाल– क्या कोई भी यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन करवा सकता है?
जवाब- नहीं, हेल्थ और उम्र को ध्यान में रखकर कुछ क्राइटेरिया तय होते हैं, जिनके आधार पर ही रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं।
सवाल- तो अमरनाथ यात्रा के लिए कौन अप्लाई नहीं कर सकता?
जवाब-
सवाल- अमरनाथ पहुंचने के लिए कौन से रास्ते हैं?
जवाब- अमरनाथ तीर्थयात्रा के लिए दो रास्ते हैं…
सवाल– अमरनाथ तक कैसे पहुंच सकते हैं?
जवाब– अमरनाथ पहुंचने के लिए पहले जम्मू तक जाना होगा। जम्मू से श्रीनगर तक का सफर करना होगा। श्रीनगर से आप अमरनाथ यात्रा के लिए पहलगाम या बालटाल पहुंच सकते हैं।
बालटाल मार्ग से अमरनाथ गुफा जाने का रास्ता
पहलगाम मार्ग से अमरनाथ गुफा जाने का रास्ता
सवाल- श्रीनगर तक कैसे पहुंचे?
सड़क सुविधा- पर्सनल कार या बस से जा सकते हैं। दिल्ली, पंजाब और हरियाणा के कई शहरों से श्रीनगर तक डायरेक्ट बस जाती हैं। जम्मू के लगभग हर बड़े शहर से भी डायरेक्ट बस है। लेह और कटरा से भी श्रीनगर तक बस चलती है।
रेल सुविधा- श्रीनगर तक कोई भी डायरेक्ट ट्रेन नहीं है। श्रीनगर से सबसे नजदीकी रेलवे स्टेशन उधमपुर या जम्मू तवी है। जम्मू तवी और उधमपुर तक आप आसानी से ट्रेन से जा सकते हैं। इन दोनों स्टेशनों पर उतरकर बस या टैक्सी से श्रीनगर जा सकते हैं।
हवाई सुविधा- ये बाकी सुविधाओं की तुलना में थोड़ा महंगा है, लेकिन बेस्ट भी है। दिल्ली, चंडीगढ़ और मुंबई जैसे कई बड़े शहरों से श्रीनगर तक डायरेक्ट फ्लाइट उपलब्ध है।
देश के कुछ बड़े शहरों से अमरनाथ की दूरी
सवाल- क्या यात्रियों की संख्या में कोई लिमिट है या जितने चाहें उतने जा सकते हैं?
जवाब- एक दिन में सिर्फ 10 हजार तीर्थयात्री ही पैदल जा सकते हैं। हेलीकॉप्टर से यात्रा करने वालों की संख्या अलग से तय होती है।
सवाल- अगर रास्ते में कोई बीमार पड़ गया या चोट लग गई तो क्या होगा?
जवाब- पर्वतीय बचाव दलों के अलावा, जम्मू-कश्मीर पुलिस तीर्थ यात्रियों के लिए चिकित्सा शिविर लगाती है। इसके अलावा मार्ग में जगह-जगह पर सेना के शिविर और हेल्थ कैम्प भी होते हैं।
सवाल- अमरनाथ की यात्रा में चढ़ाई करने से पहले क्या करना चाहिए?
जवाब- यात्रा करने से पहले अपनी फिटनेस पर थोड़ा ध्यान दें।
सवाल– अमरनाथ यात्रा के दौरान रहने-खाने की व्यवस्था कैसी रहेगी ?
जवाब– अमरनाथ यात्रा के दौरान यात्रियों की सुविधा के लिए श्री अमरनाथ जी श्राइन बोर्ड रहने-खाने का इंतजाम करता है। इसके अलावा कई एनजीओ और धार्मिक संगठन भी इंतजाम करते हैं।
अमरनाथ जी यात्रा श्राइन बोर्ड, यात्रा के विभिन्न पड़ावों पर पहले आओ पहले पाओ के आधार पर रेस्टिंग हट तैयार करवाता है। इन हट्स में बेड किराए पर मिलते हैं। यहीं पर यात्रियों के लिए टॉयलेट और वॉशरूम होते हैं।
अमरनाथ की यात्रा के दाैरान कई ऑर्गनाजेशन फ्री में लंगर लगाते हैं। सरकारी दुकान या टी-स्टाल और रेस्टोरेंट से भी आप अपने जरूरत की चीजें जैसे स्नैक्स, साबुन आदि खरीद सकते हैं।
2.75 किमी. तक चलने वाली बैटरी कार सेवा मिलेगी
श्राइन बोर्ड के एडिशनल चीफ एग्जिक्यूटिव राहुल सिंह ने बताया कि अनंतनाग जिले में पहलगाम ट्रैक और गांदरबल जिले में बालटाल दोनों ही रास्ते से यात्रा एक साथ शुरू की जाएगी। हेलीकॉप्टर से यात्रा करने वालों को छोड़कर, प्रत्येक मार्ग पर एक दिन में केवल 10,000 तीर्थयात्रियों को अनुमति दी जाएगी। तीर्थयात्रियों के लिए बालटाल और डोमेल के बीच 2.75 किमी तक चलने वाली बैटरी कार सेवा होगी।
यात्री को जारी किया जाएगा RFID टैग कार्ड
इस साल तीर्थयात्रियों की सुरक्षा के लिए श्राइन बोर्ड वहां से गुजरने वाले वाहन और यात्रियों की आवाजाही पर नजर रखने के लिए रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (RFID) को यूज करेगा। सभी तीर्थयात्रियों को आरएफआईडी टैग कार्ड जारी किए जाएंगे।
अमरनाथ यात्रा शुरू करने के बाद इन 10 बातों का रखें ध्यान:
अब उन लोगों के बारे में बात करते हैं जो यात्रा करना चाहते हैं पर इस बार जा नहीं सकते। ऐसे लोग निराश न हो। …क्योंकि लाइव टेलीकास्ट की जाएगी आरती।
श्राइन बोर्ड के एडिशनल चीफ एग्जिक्यूटिव राहुल सिंह के अनुसार दुनिया भर से भक्त भगवान के दर्शन घर बैठे कर सकेंगे। इसके लिए सुबह और शाम की आरती (प्रार्थना) का लाइव टेलीकास्ट होगा।
अंत में सब से जरूरी सवाल
सवाल: अमरनाथ यात्रा में कुल कितना खर्च होगा?
जवाब- अमरनाथ में रुकने के लिए काफी सस्ती धर्मशालाओं और मुफ्त भोजन की व्यवस्था होती है। ऐसे में अगर आप स्लीपर ट्रेन से जाते हैं और बिना किसी लग्जरी सुख-सुविधा के अमरनाथ यात्रा करते हैं, तो एक व्यक्ति का खर्च देश के किसी भी कोने से लगभग 5000 रुपए आता है। इस खर्च में बाबा बर्फानी के दर्शन करके भी लौट सकते हैं।
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